Demand for action against Anop Mandal / Anoop Mandal organization for inciting anti-national and anti-religion sentiments, submitted memorandum
Demand for action against Anop Mandal / Anoop Mandal organization for inciting anti-national and anti-religion sentiments, submitted memorandum

अनोप मंडल/अनूप मंडल संगठन द्वारा राष्ट्र विरोधी व धर्म विरोधी भावना भडक़ा कर उनका दुष्प्रचार करने एवं देशद्रोही गतिविधियों में संलिप्तता के चलते असामाजिक, आपराधिक अराजकतावादी तत्वों द्वारा शांति प्रिय समुदाय विशेष के विरुद्ध अनवरत रूप से व्यापक षडयंत्र के तहत दुर्भावनापूर्ण दुष्प्रचार एवं आपराधिक गतिविधियों से सामाजिक सौहार्द को दूषित करने व समुदायों में परस्पर वैमनस्य फैलाने की अनैतिक गतिविधियों के लिए अनूप मंडल को द अनलॉफुल एक्टिविटीज (प्रिवेंशन) एक्ट, 1967 के सेक्शन 3 व 4 के प्रावधानों के अंतर्गत गैरकानूनी संगठन अधिसूचित करने एवं अनोप/अनूप मंडल को सम्पूर्ण भारतवर्ष में पूर्णतया प्रतिबंधित संगठन घोषित करने की मांग को लेकर उपखंड अधिकारी डॉ. राकेश कुमार मीणा को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नाम ज्ञापन सौंपा गया। ज्ञापन में अवगत करवाया गया कि अनोप मंडल अराजकतावादी, असामाजिक अपराधिक गतिविधियों में लिप्त व्यक्तियों का एक संगठन है, जो राजस्थान, गुजरात एवं महाराष्ट्र आदि राज्यों के शहरी व ग्रामीण इलाकों में सक्रिय होकर शांति प्रिय व राष्ट्रसेवा में समर्पित जैन समुदाय के खिलाफ समाज में उन्माद फैलाने के उद्देश्य से लम्बे समय से अपराधिक गतिविधियां संचालित करता चला आ रहा है, और इससे सामाजिक सौहार्द प्रभावित होने के साथ हिंसात्मक गतिविधियों को बढ़ावा मिल रहा है। इनका प्रमुख उद्देश्य जैन समुदाय के धर्मावलम्बियों व वाणिज्यक समुदाय को निशाना बनाकर सामाजिक विघटन के साथ विभिन्न राज्यों में अराजकता के साथ हिंसावादी माहौल पैदा कर दहशतगर्दी फैलाना है। यह संगठन गांव गांव में जाकर जैन समुदाय, जैन धर्म व जैन साधु साध्वियों के बारे में अनर्गल व उलूल-झुलूल बातें करने के साथ कोरोना का प्रादुर्भाव जैन समुदाय के मार्फत भारत द्वारा करने अकाल, दुर्भिक्ष, बाढ़, महामारी, बीमारियां, आंधी-तूफान व भूकम्प आदि समस्त प्रकार की प्राकृतिक आपदाएं जैन समाज व बनियों द्वारा लाया जाने सम्बन्धित अतार्किक व भ्रामक दुष्प्रचार करना तथा कोरोना जीवन रक्षक वैक्सीनेशन कार्यक्रम को भारत की प्रजा को मारने का षडयंत्र होने सम्बन्धित दुष्प्रचार के माध्यम से भोले ग्रामीणों को भय व लालच से भडक़ाकर धार्मिक व सामाजिक उन्माद फैलाने के लिए गुप्त आर्थिक फंडिंग से अंजाम दे रहे हैं। अनोप मंडल के लोग सोशल मिडिया व यू-ट्यूब पर विभिन्न नामों से मैसेज व विडियों ब्रॉडकास्ट कर खुलेआम विद्वेष फैला रहा हैं। इनका इतिहास व साहित्य पढऩे से पता चलता है कि इस समूह के लोग पूर्णत: अवैज्ञानिक एवं अतार्कीक मुद्दों के आधार पर अन्य समाजों को भडक़ाते हैं। वाणिज्यक समुदाय विशेष की आर्थिक संपत्रता व सामुदायिक सेवा भाव से ईर्ष्या के चलते राष्ट्र एवं संविधान विरोधी सामजिक तनाव पैदा करना ही इनका प्रमुख एजेंडा है। इनका प्रकाशित साहित्य असंवैधानिक एवं समाजों में विद्वेष फैलानेवाले होने के कारण राजस्थान सरकार द्वारा 1957 से ही पूर्ववत प्रतिबंधित होने के बावजूद सोशल मीडिया पर खुलेआम उपलब्ध है। और अनोप मंडल के पदाधिकारी खुलेआम इसका वितरण व प्रचार प्रसार कर विधिक अवहेलना कर रहे हैं। दशकों से अनोप मंडल ने कई स्थानों पर वाणिज्यक समुदाय विशेष के खिलाफ हिंसा भडक़ाने में भूमिका निभाई है। गत 30-40 सालों में राजस्थान राज्य में इस संगठन के विरुद्ध अनेक मामले दर्ज हो चुके हैं, हाई कोर्ट के आदेश भी हुए हैं पर अब तक इस अराजकतावादी संगठन के विरूद्ध कोई ठोस कार्यवाही न होने से ये निडर होकर अपना विस्तार देश के अन्य राज्यों में भी कर रहे हैं। अनोप मंडल की सभी राष्ट्रविरोधी, हिंदु धर्म विरोधी, जैन धर्म विरोधी गतिविधियों की विस्तारपूर्वक जानकारी एवं सभी दस्तावेजी सबूत भारत भर के समस्त जैन समाज का शीर्ष संगठन राष्ट्रीय जैन संगठन के द्वारा प्रधानमंत्री कार्यालय तथा गृहमंत्री कार्यालय को प्रेषित किये गये है। जैन धर्म व जैन संस्कृति विश्व की प्राचीनतम धर्म संस्कृति है जो विश्वकल्याण विश्वशांति का संदेश देने वाले भगवान महावीर के अंहिसा तत्वा की परिचायक है। राष्ट्रनिर्माण में निरन्तर सर्वोच्च योगदान देने वाले, संपूर्ण भारत में जाति विरहीत धर्म व्यवस्था का पालन करने वाले समाज के सभी जरूरतमंदों के लिए अनगिनत समाजोपयोगी उपक्रम चलाने वाले जैन समाज के विरोध में दुष्पप्रचार से विश्वभर का जैन समाज व्यथित व आहत है। अनोप/अनूप मंडल को असंवैधानिक संगठन करार देते हुए इसकी संपूर्ण गतिविधियों को सम्पूर्ण भारतवर्ष में पूर्ण रूप से प्रतिबंधित करने के आदेश दिए जाने की मांग की गई है ताकि देश व राज्यों में कानून एवं शांति व्यवस्था बनी रहने के साथ धर्म, समाज व राष्ट्र को राहत मिल सके।

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