भक्ति व शक्ति के समन्वय के साथ चैत्र प्रतिपदा को नवरात्रा स्थापना का पर्व मनाया गया। शुभ मुहुर्तानुसार घर-घर घट स्थापना की गई। यद्यपि कोरोना वायरस संक्रमण से बचाव के लिए राज्य सरकार की गाइडलाइन की पालना के चलते मंदिरों व शक्तिपीठों में महज सेवा-पूजा का कार्य ही किया जा रहा है लेकिन पुजारियों की ओर से नवरात्रा स्थापना पर सभी देवालयों में विशेष पूजा-अर्चना ही की जा सकी। आमजन के लिए कई मंदिरों में दर्शनों की व्यवस्था नहीं होने व संक्रमण के बढते प्रभाव के चलते लोगों ने घरों में ही विशेष पूजा-अर्चना की। चैत्र नवरात्रा के इन नौ दिनों में मां दुर्गा के नौ स्वरूपों की पूजा-अर्चना की जाती है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार नवरात्रा में शक्ति के नौ रूपों की पूजा करने से सभी तरह की समस्याओं से मुक्ति मिलती है तथा जीवन में सुख-समृद्धि एवं शांति आती है। चैत्र नवरात्रि के आरम्भ से ही हिन्दू नववर्ष की भी शुरूआत हो जाती है। लोगों ने दूरभाष पर एक-दूसरे को हिंदु नववर्ष की बधाईयां दी।